Header Ads

Covaxin और Covishield से कैसे अलग है रूसी वैक्सीन Sputnik-V? ये हो सकते हैं साइड इफेक्ट्स

नई दिल्ली। स्पूतनिक-वी ( Sputnik V ) भारत में कोरोना वायरस ( Coronavirus in India ) की रोकथाम के लिए इस्तेमाल होने वाली तीसरी वैक्सीन है। इससे पहले ऑक्सफोर्ड एस्ट्राजेनेका की कोविशील्ड ( Covishield ) और भारत बायोटेक की कोवैक्सीन ( Covaxine ) का भारत में इस्तेमाल किया जा रहा है। भारत में स्पूतनिक-वी का निर्माण हैदराबाद बेस्ड डॉ. रेड्डी की लेबोरेटरी में किया जाएगा। आपको बता दें कि स्पूतनिक-वी एक एडिनोवायरस आधारित टीका है, जिसका रूस में बड़े पैमाने पर वैक्सीनेशन किया जा रहा है। इसके साथ ही दुनिया के 59 देश भी अपने यहां इसको अनुमति दे चुके हैं।

Patrika Positive News: 'भारतीय बाजारों में अगले हफ्ते से मिलेगी रूसी वैक्सीन Sputnik-V'

कोरोना वायरस की तीनों ही वैक्सीन पूरी तरह से सुरक्षित और असरदार हैं। स्पूतनिक-वी को Gam-COVID-Vac के नाम से भी जाना जाता है। यह रसियन वैक्सीन दो अलग-अलग एडिनोवायरस (एडी26 और एडी 5) से मिलकर बना है। जिसका इस्तेमाल वास्तव में सर्दी वाले वायरस का इलाज क रना है। सार्स-कोविड-2 के ट्रीटमेंट के लिए बनी यह वैक्सीन में बॉडी का इम्यून सिस्टम मजबूत करती है। रसिया में हुए क्लीनिक ट्रॉयल में स्पूतनिक वी 91.6 प्रतिशत कारगार पाई गई है। जबकि भारतीय कोवैक्सीन यूके वैरिएंट को लेकर 81 प्रतिशत और कोविशील्ड 70.4 प्रतिशत असरदार है। स्पूतनिक वी के साइड इफेक्ट्स की बात करें तो यह यह व्यक्ति-व्यक्ति पर निर्भर करता है। हालांकि इसके इस्तेमाल से सिर दर्द, चक्कर आना और दर्द जैसे साइड इफेक्ट्स देखने को मिले हैं। जबकि कोवैक्सीन की बात करें तो इसके इस्तेमाल से बुखार, पसीने आना, बदन दर्द, उल्टी, खुजली, बॉडी पर लाल चक त्ते पडऩा, सूजन और सिर दर्द जैसी कॉमन परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। इसके साथ ही प्रेगनेंट, बच्चों को दूध पिलानी वाली महिलाओं या एलर्जिक हिस्ट्री वाले लोगों को कोवैक्सीन लेने से मना किया गया है।

गुजरात में 45 साल से अधिक उम्र वालों के लिए तीन दिन को रुका वैक्सीनेशन अभियान, जानिए वजह

वहीं, कोविशील्ड पूरी तरह से सुरक्षित और असरदार है। इसके साइड इफेक्ट्स बहुत कम देखने को मिले हैं। बावजूद इसके इंजेक्शन से दर्द, शरीर पर लाल चकत्ते पडऩा, तेज बुखार, चक्करआना, थकान और बदन दर्द जैसे कुछ साइड इफेक्ट्स जरूर महसूस किए जा सकते हैं।



from Patrika : India's Leading Hindi News Portal
Read The Rest:patrika...

No comments

Powered by Blogger.