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पीएम मोदी संग चर्चा के बाद कई राज्यों ने जारी किए कर्फ्यू-पाबंदी-क्वारंटीन जैसे सख्त आदेश

नई दिल्ली। देश में कोरोना की नई लहर से बिगड़ते हालात पर लगाम लगाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा आयोजित की गई वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के बाद कई राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने बड़े आदेश जारी कर दिए हैं। कहीं पर सार्वजनिक परिवहन को बंद कर दिया गया है, तो कहीं अस्पतालों को आईसीयू बेड रिजर्व रखने के लिए कहा गया है। कहीं नाइट कर्फ्यू लागू कर दिया गया है तो कहीं दवाओं के दोगुने उत्पादन के निर्देश जारी किए गए हैं।

हरियाणा में गुरुग्राम के उपायुक्त ने कहा, "हमने 48 घंटों के भीतर COVID-19 मरीजो के प्राथमिक संपर्कों का पता लगाने और आइसोलेट करने के लिए विशेष सेल का गठन किया है। हमने आरडब्ल्यूए से कहा है कि वे सार्वजनिक क्षेत्रों की सफाई करें, निवासियों को सलाह दें कि वे यात्रा करने के बाद खुद का परीक्षण करें और किसी में लक्षण नजर आने पर मामले के बारे में अधिकारियों को सूचित करें।"

जम्मू और कश्मीर के लेफ्टिनेंट जनरल कार्यालय के मुताबिक, "जम्मू, उधमपुर, कठुआ, श्रीनगर, बारामूला, बडगाम, अनंतनाग और कुपवाड़ा जिलों के शहरी क्षेत्रों में 9 अप्रैल को रात 10-6 बजे के बीच 'कोरोना कर्फ्यू (नाइट कर्फ्यू) लगाया जाएगा।"

दिल्ली सरकार ने 115 निजी अस्पतालों को निर्देश दिए हैं कि वे COVID-19 मरीजों के लिए अपने कुल आईसीयू और वार्ड बेड क्षमता का 50 फीसदी आरक्षित करें।

तेलंगाना के मुख्यमंत्री कार्यालय के मुताबिक, "तेलंगाना में अप्रैल से शुरू होकर जब तक शैक्षणिक संस्थानों को फिर से खोला नहीं जाता, तब तक हर महीने मान्यताप्राप्त निजी शिक्षण संस्थानों के शिक्षकों और कर्मचारियों के परिवारों को 2,000 रुपये वित्तीय सहायता और 25 किलो चावल दिए जाएंगे।"

ओडिशा सरकार ने काफी सख्त नियम लागू किए हैं। ओडिशा सरकार के मुताबिक, "ओडिशा से छत्तीसगढ़ आने-जाने वाले सभी सार्वजनिक परिवहन 10 से 30 अप्रैल तक निलंबित कर दिए गए हैं। आने वाले व्यक्तियों/वाहनों के प्रवेश का प्रबंधन करने के लिए रणनीतिक स्थानों/बॉर्डर पर राज्य पुलिस और जिला कलेक्टरों के साथ परिवहन विभाग बॉर्डर चेक पॉइंट्स स्थापित करेंगे।"

ओडिशा सरकार ने आगे बताया, "किसी भी सार्वजनिक या निजी वाहन द्वारा ओडिशा आने वाले लोगों को प्रवेश के 72 घंटे के भीतर प्राप्त आरटी-पीसीआर की निगेटिव रिपोर्ट या अंतिम टीकाकरण प्रमाणपत्र (टीकाकरण के दो खुराक के बाद) को दिखाना अनिवार्य होगा। ऐसी रिपोर्ट के बिना आने वाले लोगों को 7 दिन अनिवार्य होम/इंस्टीट्यूशनल क्वारंटीन से गुजरना होगा। यह 12 अप्रैल से प्रभावी होगा।"

महाराष्ट्र के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने आज COVID-19 की दवा रेमेडिसविर के 7 निर्माताओं के साथ बैठक की अध्यक्षता की और उन्हें राज्य के लिए उत्पादन दोगुना करने के लिए कहा। बैठक में एफडीए मंत्री राजेंद्र शिंगेन और स्वास्थ्य और एफडीए विभाग के अधिकारियों ने भी भाग लिया।



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